d.k. verma lagi aaj sawan ki şarkı sözleri

लगी आज सावन की फिर वो झड़ी है लगी आज सावन की फिर वो झड़ी है वही आग सिने मे फिर जल पड़ी है लगी आज सावन की फिर वो झड़ी है कुछ ऐसे ही दिन थे वो जब हम मिले थे चमन मे नही फूल दिल मे खिले थे वही तो है मौसम मगर रुत नही वो मेरे साथ बरसात भी रो पड़ी है लगी आज सावन की फिर वो झड़ी है लगी आज सावन की फिर वो झड़ी है कोई काश दिल पे ज़रा हाथ रख दे मेरे दिल के टुकड़ो को एक साथ रख दे मगर ये है ख्वाबो ख़यालो की बाते कभी टूट कर चीज़ कोई जुड़ी है लगी आज सावन की फिर वो झड़ी है लगी आज सावन की फिर वो झड़ी है वही आग सिने मे फिर जल पड़ी है लगी आज सावन की फिर वो झड़ी है
Sanatçı: D.K. Verma
Türü: Belirtilmemiş
Ajans/Yapımcı: Belirtilmemiş
Şarkı Süresi: 3:34
Toplam: kayıtlı şarkı sözü
D.K. Verma hakkında bilgi girilmemiş.

Fotoğrafı