jagjit singh benaam sa ye dard şarkı sözleri
बेनाम सा ये दर्द ठहर क्यों नहीं जाता
बेनाम सा ये दर्द ठहर क्यों नहीं जाता
जो बीत गया है वो गुज़र क्यों नहीं जाता
बेनाम सा ये दर्द ठहर क्यों नहीं जाता
सबकुछ तो है क्या ढूंढती रहती हैं निगाहें
सबकुछ तो है क्या ढूंढती रहती हैं निगाहें
क्या बात है मैं वक़्त पे घर क्यों नहीं जाता
क्या बात है मैं वक़्त पे घर क्यों नहीं जाता
जो बीत गया है वो गुज़र क्यों नहीं जाता
वो एक ही चेहरा तो नहीं सारे जहाँ में
वो एक ही चेहरा तो नहीं सारे जहाँ में
जो दूर है वो दिल से उतर क्यों नहीं जाता
जो दूर है वो दिल से उतर क्यों नहीं जाता
जो बीत गया है वो गुज़र क्यों नहीं जाता
बेनाम सा ये दर्द ठहर क्यों नहीं जाता
जो बीत गया है वो गुज़र क्यों नहीं जाता