jaideep sahni bhangra bistar şarkı sözleri

मार गये मिट गये मार गये मिट गये हन इनके उँचे उँचे ड्रीम, कुक्कर मारे जैसे श्तेआम हन इनके उँचे उँचे ड्रीम, कुक्कर मारे जैसे श्तेआम खड़े सीटिया बजाए मूह गोल करके दद्डयजी के बटुइ मैं आए होल करके आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर हन यारों मैं इनके होती हेलो ही गाली से हम जो हो आजू बाजू थिरकें कवाली से ओ सोनियो किद्दा, हेलो वेल्लो क्या करनी गोरों का गिद्धा सारा आँखों मैं डाले आँखें हम बोले किडडान यारा हे सारी दुनिया हो जैसे हाथ जोड़के खड़ी कुच्छ किया ना कराया हर बात पे ताढ़ी हाजी आ गये जी ओ आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर सुबह सुबह मूह अपना बियर से ढोते हैं थाने ही जाके सुधरे यह ऐसे खोत्ते हैं ओ जी टके इट ओर लीव इट थाने भी रह लेंगे हम से लेंगे जो है सहना मक्‍के की रोटी साग लेके तू आती रहना खोत्ते दिल के बुरे नहीं शकल ऐसी हैं दिल पेट से जुड़ा है यह अकल ऐसी हैं आई आ गये ओय, तेरी तो आ गये जी पुंजब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर आ गये जी पुंजब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर इनके उँचे उँचे ड्रीम, कुक्कर मारे जैसे श्तेआम खड़े सीटिया बजाए मूह गोल करके दद्डयजी के बटुए मैं आए होल करके आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर आ गये जी पंजाब के शेर, वित भंगरा बिस्तर बियर बटेर
Sanatçı: Jaideep Sahni
Türü: Belirtilmemiş
Ajans/Yapımcı: Belirtilmemiş
Şarkı Süresi: 4:44
Toplam: kayıtlı şarkı sözü
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