pankaj udhas na samjho ke [live] şarkı sözleri

लहरा के झूम झूम के ला मुस्कुराके ला फूलों के रस में चाँद की किरणें मिलाके ला कहते हैं उम्र रफ्ता कभी लौटती नहीं कहते हैं उम्र रफ्ता कभी लौटती नहीं जा मयकदेस मेरी जवानी उठाके ले अब जो गजल पेश कर रहा हूँ उसके शायर हे जनाब शेख आदम अलूवाला ना समझो के हम पी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते कि थोड़ा सा हम जी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते हमें सीधी राहों ने रोका बहुत था हमें सीधी राहों ने रोका बहुत था हमें सीधी राहों ने रोका बहुत था कदम लड़खड़ा ही गए पीते पीते कदम लड़खड़ा ही गए पीते पीते कि थोड़ा सा हम जी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते नहीं देखे साक़ी ने हमसे शराबी नहीं देखे साक़ी ने हमसे शराबी नहीं देखे साक़ी ने हमसे शराबी के मयखाने में भी गए पीते पीते के मयखाने में भी गए पीते पीते कि थोड़ा सा हम जी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते किसीने जो पूछा की क्यों पी रहे हो किसीने जो पूछा की क्यों पी रहे हो किसीने जो पूछा की क्यों पी रहे हो तो हसके कहा पी गए पीते पीते तो हसके कहा पी गए पीते पीते कि थोड़ा सा हम जी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते गजल का मुखताज हे गौर फमाइये नशा हो तो क्या ख़ौफ़ मरने का आदम नशा हो तो क्या ख़ौफ़ मरने का आदम नशा हो तो क्या ख़ौफ़ मरने का आदम के हम कब्र में भी गए पीते पीते के हम कब्र में भी गए पीते पीते कि थोड़ा सा हम जी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते ना समझो के हम पी गए पीते पीते
Sanatçı: Pankaj Udhas
Türü: Belirtilmemiş
Ajans/Yapımcı: Belirtilmemiş
Şarkı Süresi: 7:22
Toplam: kayıtlı şarkı sözü
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