r.d. burman do naina aur ek kahani [edited] şarkı sözleri
अपने सही फ़रमाया की ये गुलज़ार और R. D बर्मन जब काम करते हैं
वो क्यों ऐसे गाना बन जातें हैं वो मुझे भी मालूम ना गुलज़ार को
बिलकुल खो जाते हैं दोनों इकठे बैठते हैं
मेरे ख्याल है हमलोग में एक अच्छी ये हैं
हाँ ये कोई दायरा खिंच कर नहीं बैठते
की हमें इस तरहा का ही बनाना है सिर्फ ये ही करना है
क्युकी film industry में कभी कभी एक ही तरहा भी काम करना पड़ता है
हाँ हमलोग उसतरहा से बैठते ही नहीं उस तरहा की कभी कोई बंदिश नहीं हुई है
और उस तरहा की sittings में भी नहीं किया है
Spontaneity exactly हमेशा उस बात का ख्याल रखा है
की वो spontaneous निकलना चाहिए
दो नैना और एक कहानी
थोड़ा सा बादल थोड़ा सा पानी
और एक कहानी
दो नैना और एक कहानी
थोड़ा सा बादल थोड़ा सा पानी
और एक कहानी
दो नैना और एक कहानी
छोटी सी दो झीलों में वो
बहती रहती है
ओ छोटी सी दो झीलों में वो
बहती रहती है
कोई सुने या ना सुने
कहती रहती है
कुछ लिख के और कुछ ज़ुबानी
हो थोड़ा सा बादल थोड़ा सा पानी
और एक कहानी
दो नैना और एक कहानी
थोड़ी सी है जानी हुई
थोड़ी सी नई
ओ थोड़ी सी है जानी हुई
थोड़ी सी नई
जहाँ रुके आँसू वहीं
पुरी हो गई
है तो नई फिर भी है पुरानी
हो थोड़ा सा बादल थोड़ा सा पानी
और एक कहानी
दो नैना और एक कहानी
एक ख़त्म हो तो दूसरी
रात आ जाती है
ओ एक ख़त्म हो तो दूसरी
रात आ जाती है
होंठों पे फिर भूली हुई
बात आ जाती है
दो नैनों की है ये कहानी
हो थोड़ा सा बादल थोड़ा सा पानी
और एक कहानी
दो नैना और एक कहानी