sachin gupta dhanak ka rang [lofi] şarkı sözleri
धनक का रंग है बिखरा मेरे दुपट्टे पे
सारी खुशबू मेरी बाहों में सिमट आयी है
पाँव पड़ते नहीं ज़मीं पे मेरे
मुझ पे अजीब सी मस्ती ये उमड़ आयी है
आज लगता है मैं हवाओं में हूँ
आज इतनी खुशी मिली है
आज बस में नहीं है मन मेरा
आज इतनी खुशी मिली है
आज लगता है मैं हवाओं में हूँ
आज इतनी खुशी मिली है
आ आ आ आ आ आ
आ आ आ आ आ आ
हया की शोखियाँ लिपटी हैं मेरे आँचल से
हया की शोखियाँ लिपटी हैं मेरे आँचल से
हया की शोखियाँ लिपटी हैं मेरे आँचल से
ऐसा लगता है मैं दुल्हन हूँ बनी
आज इतनी खुशी मिली है
ऐसा लगता है मैं दुल्हन हूँ बनी
आज इतनी खुशी मिली है
वो एक पल की मुलाकात रंग लाई है
वो एक पल की मुलाकात रंग लाई है
वो एक पल की मुलाकात रंग लाई है
उम्र-भर के लिए मेहमान बनी
आज इतनी खुशी मिली है
उम्र-भर के लिए मेहमान बनी
आज इतनी खुशी मिली है
आज लगता है मैं हवाओं में हूँ
आज इतनी खुशी मिली है
आज इतनी खुशी मिली है
आज इतनी खुशी मिली है
आज इतनी खुशी मिली है

